पीएम श्री केंद्रीय विद्यालय हरदोई में ’'एक किताब भेंट करें और एक दोस्त बनाएं' कार्यक्रम का सफल आयोजन।
Hardoi: पीएम श्री केंद्रीय विद्यालय हरदोई में एक अभिनव और हृदयस्पर्शी कार्यक्रम, “एक किताब भेंट करें और एक दोस्त बनाएं का आयोजन किया ....
Hardoi: पीएम श्री केंद्रीय विद्यालय हरदोई में एक अभिनव और हृदयस्पर्शी कार्यक्रम, “एक किताब भेंट करें और एक दोस्त बनाएं का आयोजन किया गया। इस अनूठी पहल का उद्देश्य छात्रों के बीच न केवल ज्ञान के प्रति रुचि जगाना था, बल्कि सामाजिक समरसता और सहभागिता की भावना को भी मजबूत करना था। इस कार्यक्रम के तहत, विद्यालय के पुस्तकालयाध्यक्ष आदेश कुमार के नेतृत्व में, पीएम श्री केंद्रीय विद्यालय के छात्रों ने उच्च प्राथमिक विद्यालय, ओदरा पचलाई, और कम्पोजिट विद्यालय, बीकापुर, के छात्रों को बड़े उत्साह के साथ किताबें भेंट कीं।
इस आदान-प्रदान का सबसे खूबसूरत पहलू यह था कि हर एक किताब के साथ एक नई दोस्ती की शुरुआत हुई। कार्यक्रम के पीछे की अवधारणा को स्पष्ट करते हुए, आदेश कुमार ने कहा, “यह सिर्फ किताबों का लेन-देन नहीं है, बल्कि यह दो विद्यालयों के छात्रों के बीच ज्ञान और दोस्ती का पुल बनाना है। हमारा मानना है कि ‘एक किताब भेंट करें और एक दोस्त बनाएं’ का विचार छात्रों को न केवल पढ़ने की आदत विकसित करने के लिए प्रेरित करेगा, बल्कि उन्हें एक-दूसरे से जुड़ने और एक-दूसरे के विचारों को समझने का अवसर भी देगा। उन्होंने छात्रों को संबोधित करते हुए कहा कि किताबें हमारे सबसे अच्छे मित्र होती हैं।
वे हमें एक नई दुनिया में ले जाती हैं, हमारी कल्पनाशीलता को उड़ान देती हैं और हमें जीवन के हर पहलू से परिचित कराती हैं। श्री कुमार ने जोर देकर कहा कि नियमित रूप से पढ़ने से हमारा मानसिक विकास होता है, हमारी भाषा और संचार कौशल में सुधार होता है, और हम एक बेहतर, अधिक जागरूक नागरिक बनते हैं। इस अनूठी पहल की प्रशंसा करते हुए, प्राचार्य मोहम्मद राशिद ने कहा, ष्यह एक ऐसा कार्यक्रम है जो राष्ट्रीय शिक्षा नीति (एनईपी) 2020 की मूल भावना को दर्शाता है। यह छात्रों को न केवल अकादमिक रूप से मजबूत करता है, बल्कि उन्हें सामाजिक और भावनात्मक रूप से भी परिपक्व बनाता है।
हमारे छात्रों ने किताबें बांटकर सिर्फ ज्ञान का प्रकाश नहीं फैलाया है, बल्कि उन्होंने दोस्ती, भाईचारे और साझा सीखने का एक शक्तिशाली संदेश भी दिया है। यह पहल हमें यह सिखाती है कि शिक्षा केवल चार दीवारों के भीतर नहीं होती, बल्कि यह हमारे समुदाय और समाज में भी फैलती है। इस ऐतिहासिक कार्यक्रम में दोनों विद्यालयों के शिक्षकों और छात्रों ने सक्रिय रूप से भाग लिया। छात्रों के चेहरों पर खुशी और उत्साह साफ झलक रहा था, जो इस बात का प्रमाण था कि यह पहल कितनी सफल रही। यह कार्यक्रम भविष्य में भी इसी तरह की गतिविधियों को जारी रखने के लिए एक प्रेरणा के रूप में कार्य करेगा, जो छात्रों के बीच पढ़ने की संस्कृति को बढ़ावा देने और एक मजबूत समुदाय के निर्माण में मदद करेगा।
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