अयोध्या दीपोत्सव 2025: सीएम योगी ने विपक्ष पर साधा निशाना, कहा- गोलियां चलाने वालों ने राम मंदिर उद्घाटन को ठुकराया, आज दीप जला रहे हम। 

अयोध्या शहर 19 अक्टूबर 2025 को दीपोत्सव के नौवें संस्करण में रोशनी की बौछार से जगमगा उठा। सरयू नदी के तट पर लाखों दीये जलाए गए, जो न केवल दिवाली की पूर्व संध्या का

Oct 20, 2025 - 15:23
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अयोध्या दीपोत्सव 2025: सीएम योगी ने विपक्ष पर साधा निशाना, कहा- गोलियां चलाने वालों ने राम मंदिर उद्घाटन को ठुकराया, आज दीप जला रहे हम। 

अयोध्या शहर 19 अक्टूबर 2025 को दीपोत्सव के नौवें संस्करण में रोशनी की बौछार से जगमगा उठा। सरयू नदी के तट पर लाखों दीये जलाए गए, जो न केवल दिवाली की पूर्व संध्या का प्रतीक बने, बल्कि सनातन धर्म के 500 वर्षों के संघर्ष की विजय का संदेश भी दिए। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इस अवसर पर श्री अयोध्या धाम में राम और सीता का प्रतीकात्मक राज्याभिषेक किया। उन्होंने पूजन, वंदना और आरती के बाद एक विशाल सभा को संबोधित किया। इस दौरान उन्होंने विपक्षी दलों पर तीखा प्रहार किया। 1990 के कारसेवक गोलीकांड का जिक्र करते हुए कहा कि जिन्होंने राम भक्तों पर गोलियां चलवाईं, वे आज भव्य राम मंदिर के प्राण प्रतिष्ठा समारोह में भी नहीं पहुंचे। योगी ने इसे सत्य की विजय बताया और कहा कि सत्य परेशान हो सकता है, लेकिन पराजित कभी नहीं होता। हर दीपक हमें यही सिखाता है।

दीपोत्सव कार्यक्रम सरयू नदी के 56 घाटों पर आयोजित हुआ। इस बार 26 लाख से अधिक दीये जलाए गए, जो पिछले वर्षों से भी ज्यादा हैं। अधिकारियों के अनुसार, 28 लाख दीये पहले से तैयार किए गए थे, ताकि गिनीज वर्ल्ड रिकॉर्ड बन सके। कार्यक्रम में दो नए विश्व रिकॉर्ड बने। पहला, सबसे अधिक लोगों द्वारा एक साथ दीया घुमाने का, जिसमें 10 हजार से ज्यादा लोग शामिल हुए। दूसरा, सबसे बड़े तेल दीपक प्रदर्शन का। सीएम योगी ने स्वयं राम, सीता और लक्ष्मण के वेश में कलाकारों की आरती उतारी। इसके बाद पुष्पक विमान के आकार का रथ खींचा, जिसमें राम-सीता की मूर्तियां सजी थीं। शहर भर में रामायण पर आधारित झांकियां सजीं, लोक नृत्य हुए, लेजर शो चले और ड्रोन शो ने आकाश को रोशन किया। पर्यटक और भक्तों की भीड़ उमड़ी। अयोध्या अब आध्यात्मिक पर्यटन का प्रमुख केंद्र बन चुकी है, जहां हर साल 6 से 10 करोड़ श्रद्धालु आते हैं।

योगी आदित्यनाथ का संबोधन भावुक और प्रेरणादायक था। उन्होंने कहा कि 2017 में जब पहला दीपोत्सव आयोजित किया गया, तो दीयों की कमी थी। पूरे प्रदेश से इकट्ठा कर 1.71 लाख दीये ही जला पाए थे। आज लाखों दीये जल रहे हैं, जो अयोध्या को विश्व पटल पर चमका रहे हैं। सीएम ने विपक्ष पर हमला बोलते हुए कहा कि राम जन्मभूमि आंदोलन के दौरान कांग्रेस ने अदालत में राम को काल्पनिक बताया, जबकि समाजवादी पार्टी सरकार ने राम भक्तों पर गोलियां चलवाईं। 1990 में मुलायम सिंह यादव की सरकार के समय कारसेवकों पर फायरिंग हुई, जिसमें दर्जनों लोग शहीद हुए। आज उसी जगह दीये जल रहे हैं, जहां खून बहा था। उन्होंने कहा कि ये वही लोग हैं, जो बाबर के कब्र पर सिर झुकाते हैं, लेकिन राम मंदिर के प्राण प्रतिष्ठा समारोह के निमंत्रण को ठुकरा देते हैं। जनवरी 2024 में हुए उद्घाटन में विपक्षी नेता अनुपस्थित रहे, जो उनकी मानसिकता दर्शाता है।

यह बयान समाजवादी पार्टी प्रमुख अखिलेश यादव के हालिया बयान के जवाब में आया। अखिलेश ने दीपोत्सव पर सरकारी खर्च की आलोचना की। उन्होंने कहा कि दुनिया भर में क्रिसमस पर महीनों रोशनी जलती है, तो दीयों पर पैसे क्यों खर्च कर रहे हैं? निवेशक गुगल मैप्स पर उत्तर प्रदेश ढूंढ लेंगे, इतना प्रचार क्यों? योगी ने इसे 'गोली बनाम दीया' का मुकाबला बताया। कहा कि जहां उन्होंने गोलियां चलवाईं, वहां हम दीये जला रहे हैं। विपक्ष को राम विरोधी लॉबी कहा, जो ब्रिटिश की 'फूट डालो राज करो' नीति अपनाती है। सीएम ने कहा कि विपक्ष को अयोध्या का यह वैभव पसंद नहीं आता, क्योंकि वे आस्था का अपमान करते रहे हैं। उन्होंने कांग्रेस और एसपी पर आरोप लगाया कि उन्होंने राम मंदिर निर्माण में बाधा डाली। अलग-अलग वकील खड़े कर विरोध किया। लेकिन सत्य की जीत हुई।

राम मंदिर का जिक्र करते हुए योगी ने कहा कि यह मंदिर केवल धार्मिक स्थल नहीं, बल्कि भारत की सांस्कृतिक विरासत का प्रतीक है। 500 वर्षों की त्रासदी के बाद राम का लौटना हर भारतीय की आस्था का प्रमाण है। अयोध्या को फैजाबाद नाम देकर पहचान मिटाने की कोशिश की गई, लेकिन अब यह अयोध्या धाम है। विकास और धरोहर का संगम यहां दिखता है। सीएम ने कहा कि दीपोत्सव आस्था को कैद करने वाली राजनीति पर विजय का प्रमाण है। पहले अयोध्या में अव्यवस्था थी, गंदगी फैली थी, कुछ हजार भक्त आते थे। आज करोड़ों पर्यटक आते हैं, शहर साफ-सुथरा है। योगी सरकार ने अयोध्या को विश्व स्तरीय बनाने के लिए हाईवे, एयरपोर्ट, रेलवे स्टेशन जैसी सुविधाएं दीं। राम मंदिर के आसपास का क्षेत्र अब धार्मिक पर्यटन का हब है।

कार्यक्रम में श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र के महासचिव चंपत राय भी मौजूद थे। उन्होंने कहा कि दीपोत्सव राम के अयोध्या लौटने की खुशी मनाता है। सीएम योगी ने पूरे प्रदेश में 1.51 करोड़ दीये जलाने का लक्ष्य बताया। यह प्रयास दिवाली की पूर्व संध्या को यादगार बनाता है। भक्तों ने भक्ति भजनों पर थिरके, जबकि ड्रोन शो ने रामायण की कहानी दिखाई। सरयू आरती के दौरान हजारों लोग जुटे। सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम थे, ड्रोन और सीसीटीवी से निगरानी की गई। पर्यावरण के लिहाज से इको-फ्रेंडली दीये इस्तेमाल किए गए।

यह दीपोत्सव राम जन्मभूमि आंदोलन की याद दिलाता है। 1990 में कारसेवा के दौरान हुई फायरिंग ने आंदोलन को बल दिया। मुलायम सिंह सरकार पर कारसेवकों की हत्या का आरोप लगा। योगी ने इसे भुलाने न देने की बात कही। विपक्ष पर तंज कसते हुए कहा कि वे अब भी सांप्रदायिक वैमनस्य फैलाने की कोशिश करते हैं। लेकिन जनता जागरूक है। सीएम ने युवाओं से आह्वान किया कि वे सनातन संस्कृति को मजबूत करें। अयोध्या अब वैश्विक मानचित्र पर चमक रही है।

दीपोत्सव ने अयोध्या को नई ऊंचाइयों पर पहुंचाया। 2017 से शुरू यह उत्सव अब अंतरराष्ट्रीय स्तर का हो गया। इस बार गुजरात, राजस्थान और अन्य राज्यों से कलाकार आए। रामलीला का मंचन हुआ, जिसमें राम-रावण युद्ध दिखाया गया। सीएम ने कहा कि यह उत्सव अंधकार पर प्रकाश की जीत है। राम भक्तों का बलिदान व्यर्थ नहीं गया। विपक्ष की आलोचना के बावजूद कार्यक्रम सफल रहा। भाजपा ने अखिलेश के बयान को राम विरोधी बताया। कहा कि वे भारतीय परंपराओं के खिलाफ हैं।

अयोध्या की गलियां भक्ति और उत्साह से भरी हैं। हर घर में दीये जल रहे, मिठाइयां बंट रही हैं। पर्यटक होटलों में ठहरे, बाजारों में भीड़ उमड़ी। यह पर्व न केवल धार्मिक, बल्कि सांस्कृतिक महत्व का है। योगी ने कहा कि अयोध्या भारत की आध्यात्मिक राजधानी है। आने वाले वर्षों में यह और विकसित होगी। राम मंदिर के दर्शन के लिए देश-विदेश से लोग आ रहे हैं। दीपोत्सव ने साबित किया कि आस्था की ताकत अटल है।

यह आयोजन राजनीतिक रंग ले चुका है। विपक्ष ने खर्च पर सवाल उठाए, लेकिन योगी ने इसे आस्था का उत्सव बताया। कहा कि विकास के साथ संस्कृति को जोड़ा जा रहा है। अयोध्या अब रोजगार का केंद्र बनेगी। हस्तशिल्प, पर्यटन से हजारों नौकरियां पैदा होंगी। सीएम ने पर्यावरण संरक्षण पर जोर दिया। दीयों में जैविक तेल का उपयोग किया गया। सरयू की सफाई अभियान चला।

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