Sitapur News: प्राचीन चित्रकूट आश्रम काफी जर्जर और अव्यस्थाओं का है शिकार
ग्राम पंचायत भिठौली स्थित प्राचीन चित्रकूट आश्रम अव्यस्थाओं का पूरी तरह शिकार बना हुआ है जबकि इसके बाबत शास्त्रों में उल्लेख मिलता है कि इस प्राचीन चित्रकूट आश्रम पर मर्यादा पुरुषो...

By INA News Sitapur.
Report: संदीप चौरसिया INA NEWS ब्यूरो Sitapur
महर्षि दधीचि की स्मृति में प्रति वर्ष फाल्गुन मास के दौरान यहां होने वाला विश्व विख्यात 84 कोशीय धार्मिक होली परिक्रमा मेला शुरू होने में जहां चन्द दिनों का ही समय अवशेष हैं वहीं प्रशासन व्दारा घोषित कार्यक्रम के अनुसार आगामी 1 मार्च अमावस्या तिथि से यह पन्द्रह दिवसीय धार्मिक परिक्रमा मेला नैमिषारण्य चक्र तीर्थ में स्नानोपरान्त सन्त,महन्तों मठाधीशों पीठाधीशों सहित नागा साधुओं व्दारा हाथी घोड़ा पालकी सहित चौपहिया वाहनों पर सवार होकर और पैदल रामाधुनि के जयकारों के साथ शुरू होगा इस परिक्रमा का पहला पड़ाव भगवान द्वारिकाधीश आश्रम कोरौना है बता दें कि मेला प्रशासन की लचर व्यवस्थाओं के चलते लाखों परिक्रमार्थियों को पथरीले और ककटाकीर्ण रास्तों से गुजरना पड़ेगा।ग्राम पंचायत भिठौली स्थित प्राचीन चित्रकूट आश्रम अव्यस्थाओं का पूरी तरह शिकार बना हुआ है जबकि इसके बाबत शास्त्रों में उल्लेख मिलता है कि इस प्राचीन चित्रकूट आश्रम पर मर्यादा पुरुषोत्तम भगवान श्रीराम ने अपनी धर्मपत्नी माता सीता और भ्राता लक्ष्मण के साथ अपने 14 वर्षीय वनवास काल के दौरान यहां पर कुछ समय तक निवास किया था और यहीं पर निकली मन्दाकिनी नदी के पवित्र जल धारा में स्नान भी करते थे, ऐसे प्राचीन चित्रकूट आश्रम पर लाखों परिक्रमार्थी प्रतिवर्ष फाल्गुन मास के दौरान होने वाले 84 कोसीय धार्मिक परिक्रमा के दौरान अपना डेरा और पड़ाव डाल कर पूजन दर्शन करते हुये यहीं रात्रि विश्राम करते है।
ग्राम पंचायत द्वारा बीते समय में बनवाया गयाअमृत सरोवर तालाब भी पड़ा सूखा पड़ा है जिसकी भी जिम्मेदारों ने साफ सफाई और जल भराव नहीं कराया गया है इतना ही नहीं प्राचीन चित्रकूट आश्रम की मरम्मत और रंगाई पुताई भी नहीं कराई गयी है। कहना गलत न होगा कि मेला प्रशासन व्दारा अभी तक जर्जर अवस्था में पहुंच चुके प्राचीन चित्रकूट आश्रम की मरम्मत का कार्य तक नहीं कराया गया हैं शौंचालय भी गन्दगी का शिकार है यहां लगे दो इण्डिया मार्का नल लाखों परिक्रमार्थियों की प्यास बुझाने के लिये पर्याप्त नही है पथरीला तथा जर्जर और उबड़-खाबड़ मार्ग अतिक्रमण व अवैध कब्जो का शिकार है।
मिश्रित तहसील और विकास क्षेत्र अन्तर्गत पड़ने वाले चित्रकूट आश्रम व नौवाखेड़ा गांव के मध्य पड़ने वाले जंगल में परिक्रमा मार्ग कच्चा व पथरीला है मार्ग पर कटीली झाडिया बबुरी के पेड़ खड़े है। मेला प्रशासन व्दारा अभी तक साफ सफाई तक की समुचित व्यवस्था नही कराई गई है जब कि धार्मिक परिक्रमा आने में चन्द दिनों का ही समय अवशेष हैं नौवाखेड़ा गांव से सुर्जपुर गांव तक मार्ग पर अतिक्रमण के साथ ही अवैध कब्जे विद्यमान है।बताते चलें कि नौवाखेड़ा गांव से सुर्जपुर गांव तक ग्रामीणों द्वारा गोबर घूरा डालकर परिक्रमा मार्ग के दोनों किनारों पर अवैध अतिक्रमण किया गया है मार्ग के दोनो ओर तरफ जमीन गड्ढायुक्त है कटीली झाड़ियां खड़ी है जिसकी साफ सफाई कराने तक की व्यवस्था जिम्मेदारों नही कराई गयी,इस सम्बन्ध में इलाकाई प्रधान प्रतिनिधि राजन मिश्रा से बात की गई तो उनका कहना है कि लोक निर्माण विभाग का कार्य बहुत धीमी गति से चल रहा है जिससे परिक्रमा पड़ाव मेला आने तक सड़क निर्माण का हो पाना कतई सम्भव नहीं दिख रहा है उनका यह भी कहना है कि अगर सड़क न बन पाये तो कम से कम दोनो ओर की झाड़ झखाड़ हटवा कर सफाई करने के साथ ही अगर मिट्टी का पटान ही करा दिया जाय तो परिक्रमार्थियों को परिक्रमा करने के दौरान कठिनाइयों का सामना नहीं करना पड़ेगा, प्रधान प्रतिनिधि का कहना है कि प्रशासन इस ओर से उदासीन ही बना हुआ है आगर जिला प्रशासन संज्ञान लेकर इस परिक्रमा मार्ग का दुरस्तीकरण करा दे तो परिक्रमतियों की समस्याओं का स्वयं ही समाधान हो जायेगा।
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