Sant Kabir Nagar News: डीएम ने स्वास्थ्य सेवाओं की प्रगति की समीक्षा की, लापरवाही पर दी चेतावनी

जिलाधिकारी आलोक कुमार ने बैठक में जिला स्तर पर संचालित विभिन्न स्वास्थ्य कार्यक्रमों की बिंदुवार समीक्षा की। उन्होंने मुख्य चिकित्सा अधीक्षक (सीएमएस) डॉ. भवनाथ पांडे....

May 23, 2025 - 23:36
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Sant Kabir Nagar News: डीएम ने स्वास्थ्य सेवाओं की प्रगति की समीक्षा की, लापरवाही पर दी चेतावनी

By INA News Sant Kabir Nagar.

संत कबीर नगर: संत कबीर नगर जिले में स्वास्थ्य सेवाओं को सुदृढ़ करने और विभिन्न स्वास्थ्य कार्यक्रमों की प्रगति की समीक्षा के लिए जिला स्वास्थ्य समिति (शासी निकाय) की एक महत्वपूर्ण बैठक शुक्रवार को आयोजित की गई। जिलाधिकारी आलोक कुमार की अध्यक्षता में हुई इस बैठक में जिले के स्वास्थ्य संकेतकों, चल रहे स्वास्थ्य कार्यक्रमों, और बुनियादी स्वास्थ्य सुविधाओं की स्थिति पर विस्तृत चर्चा और समीक्षा की गई। जिलाधिकारी ने स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों को कार्य में लापरवाही न बरतने की सख्त हिदायत दी और जनता को बेहतर स्वास्थ्य सेवाएं सुनिश्चित करने के लिए ठोस कदम उठाने के निर्देश दिए।

जिलाधिकारी आलोक कुमार ने बैठक में जिला स्तर पर संचालित विभिन्न स्वास्थ्य कार्यक्रमों की बिंदुवार समीक्षा की। उन्होंने मुख्य चिकित्सा अधीक्षक (सीएमएस) डॉ. भवनाथ पांडेय और अन्य विभागीय अधिकारियों को स्पष्ट निर्देश दिए कि स्वास्थ्य योजनाओं के क्रियान्वयन में किसी भी प्रकार की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी। डीएम ने विशेष रूप से बच्चों और गर्भवती महिलाओं के रूटीन टीकाकरण, बच्चों में कुपोषण की स्थिति की जांच, और अन्य स्वास्थ्य संकेतकों की नियमित निगरानी पर जोर दिया। उन्होंने कहा, “टीकाकरण और कुपोषण जैसे महत्वपूर्ण क्षेत्रों में प्रगति सुनिश्चित करना हमारी प्राथमिकता है। इसमें किसी भी स्तर पर ढिलाई स्वीकार्य नहीं होगी।”

जिलाधिकारी ने आभा आईडी (आयुष्मान भारत हेल्थ अकाउंट) और आयुष्मान कार्ड बनाने की प्रगति को और तेज करने के निर्देश दिए। उन्होंने सभी चिकित्साधिकारियों को अपने-अपने चिकित्सालयों में मरीजों की उचित देखभाल के लिए बुनियादी सुविधाएं, जैसे स्वच्छता, दवाओं की उपलब्धता, और चिकित्सा उपकरणों की कार्यक्षमता, सुनिश्चित करने का आदेश दिया। डीएम ने कहा, “स्वास्थ्य सेवाएं जनता का मूल अधिकार हैं। हमें यह सुनिश्चित करना होगा कि प्रत्येक व्यक्ति को गुणवत्तापूर्ण चिकित्सा सुविधा मिले।”

बैठक में जिले में चल रहे विभिन्न स्वास्थ्य कार्यक्रमों की प्रगति पर विस्तार से चर्चा हुई। इसमें राष्ट्रीय बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम, मातृ स्वास्थ्य कार्यक्रम, टीकाकरण अभियान, और क्षय रोग (टीबी) उन्मूलन जैसे महत्वपूर्ण पहलुओं की स्थिति की समीक्षा की गई। जिलाधिकारी ने इन कार्यक्रमों के प्रभावी कार्यान्वयन के लिए समयबद्ध लक्ष्य निर्धारित करने और उनकी प्रगति की नियमित निगरानी करने के लिए एक कार्ययोजना तैयार करने का निर्देश दिया।

आभा आईडी और आयुष्मान कार्ड की प्रगति पर विशेष ध्यान दिया गया। डीएम ने अधिकारियों को ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों में जागरूकता अभियान चलाने और अधिक से अधिक लोगों को इन योजनाओं से जोड़ने के लिए प्रोत्साहित किया। उन्होंने कहा कि आयुष्मान भारत योजना के तहत पात्र लोगों को कार्ड उपलब्ध कराने में तेजी लाई जाए ताकि जरूरतमंद परिवारों को मुफ्त और गुणवत्तापूर्ण चिकित्सा सुविधाएं मिल सकें।

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बैठक में जिले के वरिष्ठ स्वास्थ्य अधिकारी और अन्य संबंधित विभागों के प्रतिनिधि शामिल रहे। मुख्य चिकित्सा अधीक्षक डॉ. भवनाथ पांडेय ने जिले की स्वास्थ्य सेवाओं की स्थिति पर एक विस्तृत प्रस्तुति दी, जिसमें विभिन्न कार्यक्रमों की प्रगति और चुनौतियों का उल्लेख किया गया। अपर मुख्य चिकित्सा अधिकारी (एसीएमओ) डॉ. महेंद्र प्रसाद, जिला क्षय रोग अधिकारी डॉ. एस डी ओझा, जिला कार्यक्रम प्रबंधक (डीपीएम) विनीत श्रीवास्तव, और जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी अमित कुमार सिंह ने भी बैठक में अपनी-अपनी योजनाओं की प्रगति और भविष्य की रणनीति पर जानकारी साझा की।

इसके अलावा, खलीलाबाद विधायक के प्रतिनिधि उमेश तिवारी, विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ), और यूनिसेफ के प्रतिनिधियों ने भी बैठक में हिस्सा लिया। चिकित्सालयों के प्रभारी चिकित्सा अधिकारियों (एमओआईसी) और अन्य संबंधित अधिकारियों ने भी अपने-अपने क्षेत्रों में स्वास्थ्य सेवाओं की स्थिति पर जानकारी दी।

जिलाधिकारी ने बैठक में इस बात पर बल दिया कि ग्रामीण क्षेत्रों में स्वास्थ्य सेवाओं की पहुंच और गुणवत्ता में सुधार की आवश्यकता है। उन्होंने सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों (सीएचसी) और प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों (पीएचसी) को और अधिक सक्रिय करने के निर्देश दिए। डीएम ने कहा कि प्रत्येक स्वास्थ्य केंद्र पर पर्याप्त चिकित्सा कर्मी, दवाएं, और उपकरण उपलब्ध होने चाहिए ताकि मरीजों को स्थानीय स्तर पर ही बेहतर उपचार मिल सके।

बैठक में कुपोषण की समस्या पर भी गहन चर्चा हुई। जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी अमित कुमार सिंह ने बताया कि आंगनबाड़ी केंद्रों के माध्यम से बच्चों और गर्भवती महिलाओं में कुपोषण की स्थिति की निगरानी की जा रही है। डीएम ने इस दिशा में और अधिक जागरूकता अभियान चलाने और पोषण संबंधी योजनाओं को प्रभावी ढंग से लागू करने के निर्देश दिए।

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