फतेहपुर NH-2 पर दर्दनाक हादसा: टायर फटने से स्कॉर्पियो तालाब में डूबी, चार दोस्तों की मौत, पांच घायल।
उत्तर प्रदेश के फतेहपुर जिले में बुधवार सुबह एक भयानक सड़क दुर्घटना ने कई परिवारों को शोक में डुबो दिया। कल्यानपुर थाना क्षेत्र के बड़ौरी गांव के पास कानपुर-प्रयागराज नेशनल हाईवे-2
उत्तर प्रदेश के फतेहपुर जिले में बुधवार सुबह एक भयानक सड़क दुर्घटना ने कई परिवारों को शोक में डुबो दिया। कल्यानपुर थाना क्षेत्र के बड़ौरी गांव के पास कानपुर-प्रयागराज नेशनल हाईवे-2 पर एक स्कॉर्पियो का टायर अचानक फट गया। इससे वाहन अनियंत्रित होकर सड़क किनारे बने गहरे तालाब में जा गिरा। स्कॉर्पियो में सवार नौ दोस्त कानपुर के मोतीझील इलाके के रहने वाले थे, जो प्रयागराज के खुल्लाबाद सब्जी मंडी से लौट रहे थे। वे अपने दोस्त गौतम पाल की शादी में शामिल होने के लिए गए थे। हादसे में चार लोगों की डूबने से मौके पर ही मौत हो गई, जबकि पांच घायल हो गए। स्थानीय टोल प्लाजा के कर्मचारियों और पुलिस की फुर्ती से घायलों को तुरंत अस्पताल पहुंचाया गया। यह घटना हाईवे पर सुरक्षा के ढांचे पर सवाल खड़े कर रही है।
घटना सुबह करीब पांच बजे घटी। नौ दोस्तों ने रात को प्रयागराज में शादी का जश्न मनाया था। वे स्कॉर्पियो में सवार होकर कानपुर की ओर लौट रहे थे। हाईवे पर बड़ौरी टोल प्लाजा के पास पहुंचते ही स्कॉर्पियो का पिछला टायर फट गया। चालक नियंत्रण खो बैठा और गाड़ी सड़क से नीचे उतरकर तालाब की ओर बढ़ गई। तालाब में पानी और कीचड़ भरा हुआ था, जो मानसून के बाद अभी तक साफ नहीं हुआ था। गाड़ी कुछ ही सेकंडों में पूरी तरह डूब गई। चश्मदीदों के मुताबिक, हादसे की आवाज इतनी तेज थी कि आसपास के लोग दौड़ पड़े। लेकिन गहरे पानी में वाहन को देखते ही सब सन्न रह गए।
मृतकों में रवि प्रकाश, आशीष, अंकित और एक अन्य दोस्त शामिल हैं। ये सभी कानपुर के मोतीझील क्षेत्र के निवासी थे। वे सब्जी मंडी में काम करते थे और अच्छे दोस्तों के समूह में थे। शादी के जश्न से लौटते हुए उन्हें यह अंदाजा भी नहीं था कि खुशियां इतनी जल्दी मातम में बदल जाएंगी। घायलों में चालक संतोष, विक्की, राहुल, सोनू और एक अन्य शामिल हैं। इनकी हालत गंभीर बताई जा रही है। उन्हें पहले फतेहपुर जिला अस्पताल ले जाया गया, जहां प्राथमिक उपचार के बाद कानपुर के गणेश शंकर विद्यार्थी मेमोरियल (जीएसवीएम) अस्पताल रेफर कर दिया गया। डॉक्टरों ने बताया कि घायलों को डूबने से फेफड़ों में पानी भर गया है और कई को चोटें भी लगी हैं। वे अभी वेंटिलेटर पर हैं।
टोल प्लाजा के कर्मचारी पहला पहुंचे। बड़ौरी टोल के मैनेजर ने बताया कि सुबह की ड्यूटी पर थे जब हादसे की खबर मिली। उन्होंने तुरंत क्रेन और रस्सी का इंतजाम किया। टोल स्टाफ ने पानी में कूदकर गाड़ी के शीशे तोड़े और लोगों को बाहर निकाला। पुलिस को सूचना दी गई तो कल्यानपुर थाने की टीम मौके पर पहुंची। एसएसआई ने बचाव कार्य में मदद की। क्रेन से स्कॉर्पियो को बाहर निकालने में दो घंटे लग गए। गाड़ी पूरी तरह क्षतिग्रस्त हो चुकी थी। पुलिस ने शवों को पोस्टमार्टम के लिए भेजा। प्रारंभिक जांच में टायर फटना मुख्य कारण पाया गया। चालक ने कहा कि वे थके हुए थे, लेकिन स्पीड ज्यादा नहीं थी। फिर भी, हाईवे पर गड्ढों और कीचड़ भरे तालाब की समस्या ने हादसे को और घातक बना दिया।
फतेहपुर पुलिस ने मामले की गहन जांच शुरू कर दी है। एसपी ने बताया कि वाहन का फिटनेस सर्टिफिकेट चेक किया जा रहा है। टायर पुराना था या नहीं, यह भी पता लगाया जा रहा। हाईवे पर कई जगह तालाबों के किनारे बिना रेलिंग के हैं, जिसकी शिकायतें पुरानी हैं। स्थानीय लोगों ने कहा कि मानसून के बाद तालाब सूख जाते हैं, लेकिन इस बार बारिश ज्यादा हुई तो पानी जमा रहा। एक किसान ने बताया कि सड़क किनारे का यह तालाब वर्षों से खतरा बना हुआ है। कई छोटे हादसे हो चुके हैं। प्रशासन ने आश्वासन दिया कि जल्द ही रेलिंग लगाई जाएगी। मृतकों के परिवारों को पांच-फाइव लाख रुपये की सहायता राशि देने का ऐलान किया गया। मुख्यमंत्री कार्यालय से निर्देश मिले हैं कि घायलों का पूरा इलाज कराया जाए।
यह हादसा कानपुर-प्रयागराज हाईवे पर बढ़ते सड़क दुर्घटनाओं की याद दिलाता है। एनएच-2 पर रोजाना सैकड़ों वाहन गुजरते हैं, लेकिन रखरखाव की कमी से गड्ढे और असमान सड़कें आम हैं। पिछले साल फतेहपुर में ही 200 से ज्यादा हादसे हुए, जिनमें 150 से अधिक मौतें हुईं। विशेषज्ञों का कहना है कि लंबी ड्राइव पर चालकों को रेस्ट लेना चाहिए। टायर चेक करना अनिवार्य है। एनएचएआई को हाईवे पर साइन बोर्ड लगाने और तालाबों को भरने के निर्देश हैं। लेकिन अमल धीमा है। सोशल मीडिया पर हादसे का वीडियो वायरल हो गया है, जहां क्रेन से गाड़ी निकालते लोग दिख रहे हैं। एक वीडियो में टोल कर्मी पानी में उतरते नजर आ रहे। लोग इसे साझा कर रहे हैं और सुरक्षा पर बहस कर रहे।
परिवारों का दर्द बयां नहीं। रवि प्रकाश के पिता ने कहा कि बेटा शादी से लौट रहा था, कल घर आएगा सोच रहे थे। अब सब शून्य। आशीष की बहन रोते हुए बोली कि भाई सबके लाड़ले थे। वे सब्जी मंडी में मेहनत करते थे। घायल संतोष के भाई ने बताया कि डॉक्टर कह रहे हैं कि जान बच जाएगी, लेकिन रिकवर होने में समय लगेगा। स्थानीय विधायक ने परिवारों से मुलाकात की और सहायता का भरोसा दिया। तालिबान जैसे संगठनों से कोई लेना-देना नहीं, यह दोस्तों का सामान्य समूह था। पुलिस ने कहा कि कोई संदिग्ध परिस्थिति नहीं। जांच पूरी होने पर रिपोर्ट सौंपेंगे।
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