Hardoi : शाहाबाद पुलिस की लापरवाही ने झुकाया कर्तव्यनिष्ठ SP सर नीरज कुमार जादौन का सिर, 7 दिनों में दो हत्याओं से सिहर उठा हरदोई जिला

नैमिष हत्याकांड, जिसमें एक वकील की निर्मम हत्या ने पूरे जिले को झकझोर दिया था, लंबे समय से सुर्खियों में रहा। इस मामले में पीड़ित परिवार को न्याय न मिलने की

Sep 1, 2025 - 21:26
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Hardoi : शाहाबाद पुलिस की लापरवाही ने झुकाया कर्तव्यनिष्ठ SP सर नीरज कुमार जादौन का सिर, 7 दिनों में दो हत्याओं से सिहर उठा हरदोई जिला
शाहाबाद पुलिस की लापरवाही ने झुकाया कर्तव्यनिष्ठ SP सर नीरज कुमार जादौन का सिर, 7 दिनों में दो हत्याओं से सिहर उठा हरदोई जिला

By Vijay Laxmi Singh (Editor In Chief)

हरदोई : उत्तर प्रदेश के हरदोई जिले के शाहाबाद कोतवाली क्षेत्र में पुलिस की लापरवाही और कथित दबंगई ने एक बार फिर जिले की कानून व्यवस्था पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं। 31 अगस्त 2025 की रात पुलिस हिरासत में 20 वर्षीय रवि राजपूत की संदिग्ध परिस्थितियों में मौत ने क्षेत्र में तनाव का माहौल पैदा कर दिया। इस घटना के बाद गुस्साए परिजनों और ग्रामीणों ने शाहाबाद कोतवाली का घेराव कर लखनऊ-पलिया हाइवे को कई घंटों तक जाम कर दिया। यह घटना शाहाबाद पुलिस की कार्यशैली पर एक काला धब्बा बन गई, जिसने पुलिस अधीक्षक (SP) नीरज कुमार जादौन जैसे कर्तव्यनिष्ठ अधिकारी को भी सिर झुकाने पर मजबूर कर दिया जबकि डीएम अनुनय झा परिजनों को आत्मिकता से ढांढस बंधाते नजर आये। हरदोई जिले के पुलिस महकमे का एक ऐसा सर्वोच्च अधिकारी, जिसने लोगों को न्याय दिलाने के लिए दिन रात एक कर दिया और गहराइयों से पीड़ितों के दर्द को समझा, ऐसे अधिकारी के ह्रदय पर शाहाबाद पुलिस द्वारा ऐसा कुठाराघात किया जाना किसी बड़े शर्मनाक कृत्य से कम नहीं है। SP जादौन, जो हरदोई में अपने कार्यकाल के दौरान बेहतर पुलिसिंग और जनहित के लिए सक्रिय रहे हैं, को शाहाबाद पुलिस के इस कुकृत्य के कारण जनता के गुस्से का सामना करना पड़ा। इसके अलावा, हाल ही में भाजपा बूथ अध्यक्ष शैलेंद्र मिश्रा की हत्या के मामले में भी शाहाबाद पुलिस की लापरवाही ने जिले की छवि को और धक्का पहुंचाया है।

रवि राजपूत की हिरासत में मौत: पुलिस पर हत्या का आरोप

28 अगस्त 2025 को शाहाबाद थाना क्षेत्र के निवासी रामप्रसाद ने अपनी 16 वर्षीय नाबालिग बेटी को बहला-फुसलाकर भगाने का आरोप अहमदनगर गांव के रवि राजपूत पर लगाते हुए कोतवाली में शिकायत दर्ज की थी। पुलिस ने त्वरित कार्रवाई करते हुए लड़की को बरामद कर लिया और रवि को हिरासत में ले लिया। हालांकि, परिजनों का आरोप है कि रवि को पांच दिन तक कोतवाली में रखा गया, लेकिन उसे मजिस्ट्रेट के सामने पेश नहीं किया गया और न ही जेल भेजा गया। 31 अगस्त की रात करीब 7:50 बजे पुलिस ने दावा किया कि रवि की अचानक तबीयत बिगड़ गई और उसे शाहाबाद सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र ले जाया गया, जहां डॉक्टर विक्रम सिंह ने उसे मृत घोषित कर दिया। पुलिस के अनुसार, रवि ने कोतवाली परिसर के शौचालय में फंदा लगाकर आत्महत्या कर ली।परिजनों ने पुलिस के इस दावे को सिरे से खारिज करते हुए गंभीर आरोप लगाए। उनका कहना है कि पुलिस ने नाबालिग लड़की के परिवार से तीन लाख रुपये लेकर रवि की हत्या की। परिजनों ने यह भी आरोप लगाया कि रवि के साथ हिरासत में मारपीट की गई, जिसके कारण उसकी मौत हुई। इस घटना के बाद सैकड़ों ग्रामीणों और परिजनों ने कोतवाली का घेराव कर लिया और रवि का शव कोतवाली गेट पर रखकर लखनऊ-पलिया हाइवे जाम कर दिया। इस हंगामे से हाइवे पर कई किलोमीटर लंबा जाम लग गया, जिससे यात्रियों को घंटों परेशानी का सामना करना पड़ा। सोशल मीडिया पर वायरल एक वीडियो में गुस्साए ग्रामीणों को पुलिस के खिलाफ नारेबाजी करते और न्याय की मांग करते देखा गया।

BJP बूथ अध्यक्ष शैलेंद्र मिश्रा हत्याकांड: पुलिस की लापरवाही उजागर

शाहाबाद पुलिस की लापरवाही का यह कोई पहला मामला नहीं है। हाल ही में 29 अगस्त 2025 को शाहाबाद कोतवाली क्षेत्र के मोहल्ला खलील निवासी भाजपा बूथ अध्यक्ष शैलेंद्र मिश्रा उर्फ गौरी का सड़ा हुआ शव एक तालाब में बरामद हुआ था। शैलेंद्र 21 अगस्त की रात से लापता थे, जब गढ़ी स्टेशन रोड पर एक बार में उनकी कुछ लोगों के साथ मारपीट हुई थी। इस घटना का सीसीटीवी फुटेज भी सामने आया था, जिसमें मारपीट साफ दिख रही थी। शैलेंद्र के पिता रामलाल ने चार लोगों धीरू अवस्थी, चंद्र प्रकाश उर्फ पिंटू, पवन भारद्वाज और मुशी खां पर अपहरण और हत्या का आरोप लगाते हुए शाहाबाद कोतवाली में मुकदमा दर्ज कराया था।

परिजनों का आरोप है कि पुलिस ने इस मामले में शुरुआत में कोई गंभीरता नहीं दिखाई। शव बरामद होने के बाद भी पुलिस की कार्रवाई से असंतुष्ट शैलेंद्र की पत्नी ने कोतवाली प्रभारी पर हमला कर उनके स्टार तक नोच लिए। इस घटना ने शाहाबाद पुलिस की लचर कार्यशैली को और उजागर किया। शव बरामद होने के बाद पुलिस ने दो युवकों को हिरासत में लिया और पूछताछ शुरू की, लेकिन परिजनों का कहना है कि यदि पुलिस ने शुरुआत में ही सक्रियता दिखाई होती, तो शायद शैलेंद्र की जान बच सकती थी।

SP नीरज कुमार जादौन: जनहित में सक्रिय, फिर भी शाहाबाद पुलिस ने कराई फजीहत

पुलिस अधीक्षक नीरज कुमार जादौन ने हरदोई में अपने कार्यकाल के दौरान कई उल्लेखनीय कार्य किए हैं, जो उनकी कर्तव्यनिष्ठा और बेहतर पुलिसिंग का प्रमाण हैं। दिसंबर 2024 में SP जादौन ने लापरवाही और शिथिलता के आरोप में चार थानाध्यक्षों और एक चौकी प्रभारी को लाइन हाजिर कर दिया था, जबकि राधानगर चौकी प्रभारी विनोद कुमार शर्मा को निलंबित कर दिया था। यह कार्रवाई पुलिस विभाग में कार्यक्षमता और जवाबदेही बढ़ाने के लिए की गई थी। इसके अलावा, SP जादौन ने डायटम टेस्ट के आधार पर बेहटा गोकुल थाना क्षेत्र में डेढ़ साल पुरानी एक हत्या के मामले का खुलासा किया था, जिससे उनकी वैज्ञानिक और निष्पक्ष जांच के प्रति प्रतिबद्धता सामने आई।

SP जादौन ने हमेशा जनता के हित में काम किया है। उन्होंने थानों में शिकायतों के त्वरित निपटारे, अपराध नियंत्रण और पुलिसकर्मियों की जवाबदेही सुनिश्चित करने के लिए कई कदम उठाए। उनके नेतृत्व में हरदोई पुलिस ने कई बड़े अपराधियों को गिरफ्तार किया और जिले में कानून व्यवस्था को मजबूत करने की दिशा में काम किया। लेकिन शाहाबाद पुलिस की लापरवाही और कथित दबंगई ने उनके इन प्रयासों पर पानी फेर दिया। रवि राजपूत की हिरासत में मौत और शैलेंद्र मिश्रा हत्याकांड में पुलिस की निष्क्रियता ने SP जादौन को जनता के गुस्से का सामना करने के लिए मजबूर कर दिया। सही होने के बावजूद, उन्हें शाहाबाद पुलिस के कुकृत्यों के कारण सिर झुकाना पड़ा।

रवि राजपूत मामले में पुलिस की कार्रवाई और जांच

रवि राजपूत की मौत के बाद SP नीरज कुमार जादौन और अपर पुलिस अधीक्षक (पश्चिमी) मार्तंड प्रकाश सिंह तत्काल शाहाबाद कोतवाली पहुंचे। SP ने परिजनों से मुलाकात कर निष्पक्ष जांच का आश्वासन दिया। उन्होंने बताया कि शव का पोस्टमार्टम डॉक्टरों के पैनल द्वारा वीडियोग्राफी के साथ कराया जाएगा और राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग (NHRC) के दिशा-निर्देशों का पालन किया जाएगा। कोतवाली के सीसीटीवी फुटेज को सुरक्षित कर लिया गया है, जिसकी जांच की जाएगी। मृतक के पिता की तहरीर पर विवेचक उपनिरीक्षक वरुण कुमार शुक्ला, डायल 112 के दो पुलिसकर्मियों, अन्य पुलिसकर्मियों और नाबालिग लड़की के परिजनों के खिलाफ गैर-इरादतन हत्या का मामला दर्ज किया गया है। उपनिरीक्षक वरुण कुमार शुक्ला को तत्काल निलंबित कर दिया गया।

शाहाबाद पुलिस की कार्यशैली पर सवाल

शाहाबाद कोतवाली की कार्यशैली पहले भी सवालों के घेरे में रही है। हाल ही में एक वीडियो वायरल हुआ था, जिसमें कोतवाली प्रभारी द्वारा एक पीड़ित के साथ बदसलूकी की गई थी। इसके अलावा, नवंबर 2024 में एक अन्य मामले में पुलिस की पिटाई से तंग आकर प्रवीण कुमार उर्फ लालू ने आत्महत्या कर ली थी। इस मामले में भी एक दरोगा द्वारा युवक को थप्पड़ मारने और घसीटने का वीडियो वायरल हुआ था, जिसने पुलिस की बर्बरता को उजागर किया था।

नैमिष हत्याकांड का मामला

हरदोई जिले में पुलिस अधीक्षक (एसपी) नीरज कुमार जादौन के कार्यभार संभालते ही उनकी तेज-तर्रार कार्यशैली और अपराध के प्रति जीरो टॉलरेंस नीति ने जिले में कानून व्यवस्था को नई दिशा दी थी। विशेष रूप से चर्चित नैमिष हत्याकांड में उनकी सक्रियता और त्वरित कार्रवाई ने जनता के बीच भरोसा जगाया था।नैमिष हत्याकांड, जिसमें एक वकील की निर्मम हत्या ने पूरे जिले को झकझोर दिया था, लंबे समय से सुर्खियों में रहा। इस मामले में पीड़ित परिवार को न्याय न मिलने की शिकायतें थीं, और पुलिस की कार्यप्रणाली पर सवाल उठ रहे थे। जुलाई 2024 में एसपी नीरज कुमार जादौन के हरदोई में पदभार ग्रहण करने के बाद इस हत्याकांड को प्राथमिकता दी गई थी। नीरज कुमार जादौन, जो अपनी सख्त और ईमानदार कार्यशैली के लिए जाने जाते हैं, ने नैमिष हत्याकांड की जांच को गति प्रदान की थी। एसपी जादौन ने न केवल नैमिष हत्याकांड बल्कि जिले में अन्य अपराधों पर अंकुश लगाने के लिए कई नवाचार शुरू किए। उनकी "वन डे वन प्रॉब्लम" पहल, जिसमें थानों को प्रतिदिन एक शिकायत का समाधान करना अनिवार्य है, ने पीड़ितों को त्वरित न्याय दिलाने में अब तक महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। इसके अलावा, उन्होंने ड्यूटी में लापरवाही बरतने वाले पुलिसकर्मियों पर सख्त कार्रवाई की, जिसमें 140 से अधिक पुलिसकर्मियों को निलंबित किया जा चुका है।

जनता का गुस्सा और पुलिस की जवाबदेही

रवि राजपूत की मौत और शैलेंद्र मिश्रा हत्याकांड ने शाहाबाद पुलिस की कार्यशैली पर गंभीर सवाल खड़े किए हैं। ग्रामीणों और परिजनों का कहना है कि पुलिस की लापरवाही और दबंगई के कारण ऐसी घटनाएं हो रही हैं। रवि के परिजनों ने मांग की है कि उनकी मौत की निष्पक्ष जांच हो और दोषी पुलिसकर्मियों को कड़ी सजा दी जाए। शैलेंद्र मिश्रा के मामले में भी परिजनों ने पुलिस की निष्क्रियता पर गुस्सा जाहिर किया।

SP नीरज कुमार जादौन ने हरदोई में अपने कार्यकाल में पुलिसिंग को बेहतर करने और जनता का भरोसा जीतने के लिए कई सराहनीय कदम उठाए हैं। लेकिन शाहाबाद पुलिस की लापरवाही और कथित गैर-जिम्मेदाराना रवैये ने उनके प्रयासों को धक्का पहुंचाया है। रवि राजपूत की हिरासत में मौत और शैलेंद्र मिश्रा हत्याकांड ने न केवल पुलिस की जवाबदेही पर सवाल उठाए हैं, बल्कि SP जादौन जैसे समर्पित अधिकारी को भी जनता के सामने सिर झुकाने पर मजबूर कर दिया है। पोस्टमार्टम और डायटम टेस्ट की रिपोर्ट का इंतजार है, जो इन मामलों में सच्चाई को उजागर करेगी।

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