मसूरी में पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने बीजेपी को बताया रावण के वंशज, कहा उत्तराखंड में अधिकारियों का नहीं, भाजपा का चलता है विवेक।
उत्तराखंड के पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेस के वरिष्ठ नेता हरीश रावत ने मसूरी में पत्रकारों से वार्ता करते हुए भारतीय जनता पार्टी पर तीखा
रिपोर्टर सुनील सोनकर
उत्तराखंड के पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेस के वरिष्ठ नेता हरीश रावत ने मसूरी में पत्रकारों से वार्ता करते हुए भारतीय जनता पार्टी पर तीखा हमला बोलते हुए कहा है उन्होंने आरोप लगाया कि राज्य में प्रशासनिक फैसले अधिकारियों के विवेक से नहीं, बल्कि भाजपा के इशारे पर लिए जा रहे हैं। रावत ने भाजपा को पूंजीपतियों की पार्टी बताते हुए कहा कि उसने गरीबों, बेरोजगारों और आम जनता के हितों की अनदेखी की है।
उन्होंने भाजपा नेताओं को “रावण के भी रावण” बताते हुए उन पर अहंकार और अलंकार की राजनीति करने का आरोप लगाया और कहा कि जैसे आज युवा बेरोजगार है, वैसे ही भविष्य में जनता भाजपा को भी “बेरोजगार” बना देगी। उत्तराखंड को खोखला करने का आरोप लगाते हुए रावत ने कहा कि राज्य की जमीन, संसाधन और पर्यटन स्थल चहेतों और बाहरी लोगों को सौंपे जा रहे हैं, जिससे राज्य की आत्मा कमजोर की जा रही है।
मनरेगा को लेकर भी उन्होंने गंभीर आरोप लगाए, कहा कि भाजपा योजना का नाम बदलकर उसकी आत्मा खत्म कर रही है। उन्होंने मनरेगा को गरीबों के लिए “कानूनी क्रांति” बताया और कहा कि यह ग्राम विकास और सीधे रोजगार का मजबूत माध्यम था।
रावत ने ऐलान किया कि महात्मा गांधी के नाम को हटाने के प्रयासों के खिलाफ कांग्रेस देशव्यापी जन-जागरण अभियान चलाएगी और सत्ता में आने पर गांधीजी के नाम पर कई जनकल्याणकारी योजनाएं शुरू की जाएंगी।राम और गांधी को अलग न किए जाने की बात कहते हुए उन्होंने कहा कि महात्मा गांधी भगवान राम के सच्चे भक्त थे और भाजपा राम को पूंजीपतियों का प्रतीक बनाने की कोशिश कर रही है, जिसे कांग्रेस स्वीकार नहीं करेगी।
हरीश रावत के इस बयान से उत्तराखंड की राजनीति में नई हलचल पैदा हो गई है और आने वाले दिनों में इस मुद्दे पर सियासी टकराव और तेज होने के संकेत हैं।
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