उत्तराखंड में बड़ा प्रशासनिक फेरबदल: 44 अधिकारियों के तबादले, पांच जिलों के जिलाधिकारियों में बदलाव।

उत्तराखंड सरकार ने रविवार को दीपावली से ठीक पहले एक बड़ा प्रशासनिक फेरबदल किया है। इस फेरबदल में कुल 44 अधिकारियों के दायित्वों में बदलाव किया गया है, जिनमें

Oct 13, 2025 - 13:13
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उत्तराखंड में बड़ा प्रशासनिक फेरबदल: 44 अधिकारियों के तबादले, पांच जिलों के जिलाधिकारियों में बदलाव।
उत्तराखंड में बड़ा प्रशासनिक फेरबदल: 44 अधिकारियों के तबादले, पांच जिलों के जिलाधिकारियों में बदलाव।

देहरादून। उत्तराखंड सरकार ने रविवार को दीपावली से ठीक पहले एक बड़ा प्रशासनिक फेरबदल किया है। इस फेरबदल में कुल 44 अधिकारियों के दायित्वों में बदलाव किया गया है, जिनमें 23 भारतीय प्रशासनिक सेवा (आईएएस), 11 प्रांतीय सिविल सेवा (पीसीएस), तीन सचिवालय सेवा के अधिकारी और एक भारतीय वन सेवा (आईएफएस) अधिकारी शामिल हैं। इस व्यापक तबादला सूची में पांच महत्वपूर्ण जिलों- नैनीताल, चमोली, बागेश्वर, अल्मोड़ा और पिथौरागढ़ के जिलाधिकारियों को बदला गया है। यह बदलाव राज्य में प्रशासनिक दक्षता बढ़ाने, विकास कार्यों को गति देने और विभिन्न विभागों में नई ऊर्जा लाने के उद्देश्य से किया गया है। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के नेतृत्व वाली सरकार ने इस फेरबदल को पारदर्शिता और कुशल शासन सुनिश्चित करने वाला कदम बताया है।

इस फेरबदल का आदेश कार्मिक विभाग के संयुक्त सचिव राजेंद्र सिंह पतियाल ने जारी किया। आदेश के अनुसार, कई वरिष्ठ अधिकारियों को नए पद सौंपे गए हैं, जबकि कुछ से पुराने दायित्व वापस लिए गए हैं। यह बदलाव न केवल जिला स्तर पर बल्कि सचिवालय और विभागीय स्तर पर भी व्यापक है। राज्य के विभिन्न जिलों में विकास परियोजनाओं, कृषि, शहरी विकास, ग्रामीण विकास और सामाजिक कल्याण जैसे क्षेत्रों में अब नई नेतृत्व व्यवस्था होगी। विशेषज्ञों का मानना है कि इससे प्रशासनिक प्रक्रियाएं तेज होंगी और जनता को बेहतर सेवाएं मिलेंगी।

जिलाधिकारी स्तर पर सबसे ज्यादा बदलाव देखने को मिले हैं। नैनीताल जिले की वर्तमान जिलाधिकारी वंदना सिंह को उनके पद से हटा दिया गया है। उन्हें अब महानिदेशक कृषि एवं उद्यान विभाग के साथ-साथ अपर सचिव नियोजन का महत्वपूर्ण दायित्व सौंपा गया है। वंदना सिंह, जो 2010 बैच की आईएएस अधिकारी हैं, ने नैनीताल में पर्यटन, पर्यावरण संरक्षण और आपदा प्रबंधन जैसे क्षेत्रों में उल्लेखनीय कार्य किया था। उनके स्थान पर अपर सचिव कार्मिक एवं सतर्कता के पद से आईएएस ललित मोहन रयाल को नैनीताल का नया जिलाधिकारी नियुक्त किया गया है। ललित मोहन रयाल को जिला स्तरीय विकास प्राधिकरण का अतिरिक्त प्रभार भी दिया गया है। नैनीताल, जो राज्य का एक प्रमुख पर्यटन केंद्र है, वहां पर्यटन सीजन के दौरान भीड़ प्रबंधन और विकास कार्यों में उनकी भूमिका अहम होगी।

चमोली जिले में भी बड़ा बदलाव हुआ है। वर्तमान जिलाधिकारी डॉ. संदीप तिवारी को हटाकर उन्हें निदेशक समाज कल्याण का पद सौंपा गया है। डॉ. संदीप तिवारी ने चमोली में चारधाम यात्रा मार्गों के रखरखाव और आपदा राहत कार्यों में महत्वपूर्ण योगदान दिया था। उनके स्थान पर शहरी विकास और सूचना प्रौद्योगिकी विभाग में अपर सचिव के पद पर कार्यरत आईएएस गौरव कुमार को चमोली का नया जिलाधिकारी बनाया गया है। गौरव कुमार, 2013 बैच के अधिकारी, अब बद्रीनाथ धाम क्षेत्र के विकास और पर्यावरण संरक्षण पर विशेष ध्यान देंगे। चमोली जिला, जो हिमालयी क्षेत्र में स्थित है, वहां सड़क, जल संरक्षण और ग्रामीण विकास परियोजनाओं को नई दिशा मिलने की उम्मीद है।

बागेश्वर जिले के जिलाधिकारी आईएएस आशीष कुमार भटगांई को पिथौरागढ़ का नया जिलाधिकारी बनाया गया है। आशीष कुमार भटगांई ने बागेश्वर में कृषि आधारित विकास योजनाओं को बढ़ावा दिया था। पिथौरागढ़, जो सीमावर्ती जिला है, वहां सुरक्षा, सीमा व्यापार और पर्यटन को मजबूत करने में उनकी विशेषज्ञता काम आएगी। बागेश्वर में मुख्य विकास अधिकारी (सीडीओ) हरिद्वार से आईएएस आकांक्षा कोंडे को नया जिलाधिकारी नियुक्त किया गया है। आकांक्षा कोंडे, जो युवा अधिकारी हैं, अब बागेश्वर के ग्रामीण क्षेत्रों में शिक्षा, स्वास्थ्य और महिला सशक्तिकरण पर फोकस करेंगी।

अल्मोड़ा जिले में उपाध्यक्ष रुड़की विकास प्राधिकरण से आईएएस अंशुल सिंह को नया जिलाधिकारी बनाया गया है। अंशुल सिंह ने शहरी नियोजन में अनुभव प्राप्त किया है, जो अल्मोड़ा के पर्वतीय इलाकों के विकास के लिए उपयोगी साबित होगा। वर्तमान जिलाधिकारी आईएएस आलोक कुमार पांडे को अल्मोड़ा से हटाकर मुख्य कार्यकारी अधिकारी प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना (पीएमजीएसवाई) और निदेशक आईटीडीए का दायित्व सौंपा गया है। आलोक कुमार पांडे ने अल्मोड़ा में जैव विविधता संरक्षण और सांस्कृतिक विरासत को बढ़ावा देने का कार्य किया था।

पिथौरागढ़ के वर्तमान जिलाधिकारी आईएएस विनोद गिरी गोस्वामी को अपर सचिव एवं निदेशक शहरी विकास के पद पर स्थानांतरित किया गया है। विनोद गिरी गोस्वामी ने सीमावर्ती क्षेत्रों में बुनियादी ढांचे के विकास में योगदान दिया था। इन बदलावों से इन जिलों में नई नीतियां और योजनाएं लागू होने की संभावना है।

सचिव स्तर पर भी महत्वपूर्ण फेरबदल हुए हैं। सचिव ग्रामीण विकास एवं ग्रामीण निर्माण विभाग के पद से आईएएस दिलीप जावलकर को हटा दिया गया है। दिलीप जावलकर ने ग्रामीण सड़कों और पंचायती राज व्यवस्था को मजबूत करने में भूमिका निभाई थी। मत्स्य निदेशक का अतिरिक्त प्रभार संभाल रहे सचिव डॉ. वी.वी.आर.सी. पुरुषोत्तम से यह दायित्व वापस ले लिया गया है। डॉ. पुरुषोत्तम अब मत्स्य विभाग के अन्य कार्यों पर ध्यान केंद्रित करेंगे।

पंचायती राज और खाद्य आयुक्त के कार्यभार से आईएएस चंद्रेश कुमार यादव को मुक्त कर दिया गया है। अब उनके पास केवल महिला सशक्तीकरण और बाल विकास विभाग का दायित्व रहेगा। चंद्रेश कुमार यादव ने पंचायती राज में विकेंद्रीकरण को बढ़ावा दिया था। आयुक्त खाद्य की जिम्मेदारी अब सचिव रणवीर सिंह चौहान को सौंपी गई है। रणवीर सिंह चौहान, जो पहले निदेशक कृषि एवं उद्यान विभाग थे, अब खाद्य सुरक्षा और वितरण प्रणाली को मजबूत करेंगे।

सचिव पर्यटन एवं धर्मस्व आईएएस धीरज सिंह गर्ब्याल को ग्रामीण विकास और ग्रामीण सीपीडी तथा यूजीवीएस का अतिरिक्त प्रभार दिया गया है। धीरज सिंह गर्ब्याल ने पर्यटन क्षेत्र में चारधाम यात्रा को सुगम बनाने का कार्य किया था। इन बदलावों से ग्रामीण और पर्यटन क्षेत्रों में समन्वय बढ़ेगा।

अन्य प्रमुख तबादलों में आईएफएस डॉ. पराग मधुकर धकाते को विशेष सचिव पंचायती राज विभाग का प्रभार सौंपा गया है। डॉ. धकाते, जो वन संरक्षण में विशेषज्ञ हैं, अब ग्रामीण पंचायतों में पर्यावरणीय विकास पर काम करेंगे। आईएएस विनीत कुमार से वन विभाग का दायित्व हटाकर उन्हें अपर सचिव श्रम का कार्यभार दिया गया है। विनीत कुमार ने वन्यजीव संरक्षण में योगदान दिया था। वन विभाग का अतिरिक्त प्रभार अब आईएएस हिमांशु खुराना को सौंपा गया है। हिमांशु खुराना अब वन संसाधनों के संरक्षण और सतत विकास पर ध्यान देंगे।

आईएएस अनुराधा पाल से चिकित्सा स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा विभाग का प्रभार वापस ले लिया गया है। अनुराधा पाल ने स्वास्थ्य सेवाओं को मजबूत करने में भूमिका निभाई थी। आईएएस दीप्ति सिंह से निदेशक उद्यान का अतिरिक्त प्रभार हटा लिया गया है। अपर सचिव प्रकाश चंद्र से समाज कल्याण और बहुउद्देशीय वित्त निगम का प्रभार लेकर उन्हें आयुक्त दिव्यांगजन बनाया गया है। प्रकाश चंद्र अब दिव्यांगजनों के कल्याण योजनाओं को लागू करेंगे।

पीसीएस अधिकारियों के स्तर पर भी व्यापक बदलाव हुए हैं। गिरधारी सिंह रावत को उत्तराखंड लोक सेवा आयोग के सचिव पद से हटाकर अपर सचिव कार्मिक एवं सतर्कता बनाया गया है। चंद्र सिंह धर्मशक्तू को निदेशक मत्स्य का पद सौंपा गया है। सुनील सिंह को अपर सचिव राजस्व और सचिवालय प्रशासन का दायित्व दिया गया है। ललित नारायण मिश्रा को मुख्य विकास अधिकारी हरिद्वार नियुक्त किया गया है। अशोक कुमार पांडे को उत्तराखंड लोक सेवा आयोग का सचिव बनाया गया है। सुंदर लाल सेमवाल को निदेशक उद्यान का पद दिया गया है। चंद्र सिंह मर्तोलिया को संभागीय खाद्य नियंत्रक कुमाऊं बनाया गया है। जय भारत सिंह को मुख्य विकास अधिकारी उत्तरकाशी नियुक्त किया गया है। जयबर्द्धन शर्मा को परीक्षा नियंत्रक लोक सेवा आयोग का दायित्व सौंपा गया है।

युक्ता मिश्रा को एडीएम अल्मोड़ा बनाया गया है। कृष्ण नाथ गोस्वामी को अपर जिलाधिकारी चंपावत नियुक्त किया गया है। परितोष वर्मा को नगर आयुक्त हल्द्वानी का पद दिया गया है। ऋचा सिंह को डिप्टी कलेक्टर ऊधमसिंहनगर बनाया गया है। सोहन सिंह को डिप्टी कलेक्टर रुद्रप्रयाग नियुक्त किया गया है। अनिल कुमार चन्याल को डिप्टी कलेक्टर बागेश्वर का दायित्व सौंपा गया है।

ये तबादले राज्य सरकार की उस रणनीति का हिस्सा हैं, जिसके तहत विभिन्न विभागों में अनुभवी अधिकारियों को नई जिम्मेदारियां देकर विकास को गति दी जा रही है। विशेष रूप से सीमावर्ती और पर्वतीय जिलों में सुरक्षा और बुनियादी ढांचे पर जोर दिया गया है। ग्रामीण विकास, महिला सशक्तीकरण, पर्यटन और कृषि जैसे क्षेत्रों में नई पहल की उम्मीद है। यह फेरबदल नौकरशाही में ताजगी लाएगा और जनता की अपेक्षाओं को पूरा करने में मदद करेगा। राज्य के अधिकारियों ने नए दायित्वों को तत्काल संभालने के निर्देश दिए हैं।

इस फेरबदल से उत्तराखंड के प्रशासनिक ताने-बाने में मजबूती आएगी। विभिन्न जिलों में नए जिलाधिकारी आने से स्थानीय मुद्दों का बेहतर समाधान होगा। उदाहरण के लिए, नैनीताल में पर्यटन बोर्ड की बैठकों और विकास योजनाओं में नई दिशा मिलेगी। चमोली में चारधाम परियोजना को तेजी से पूरा करने पर फोकस होगा। बागेश्वर और अल्मोड़ा जैसे जिलों में जैविक खेती और पर्यावरण संरक्षण को प्राथमिकता दी जाएगी। पिथौरागढ़ में सीमा सुरक्षा और व्यापार को बढ़ावा मिलेगा।

सचिव स्तर पर ग्रामीण विकास विभाग में नए प्रभार से पंचायती राज व्यवस्था मजबूत होगी। खाद्य आयुक्त के रूप में रणवीर सिंह चौहान सार्वजनिक वितरण प्रणाली को और पारदर्शी बनाएंगे। महिला सशक्तीकरण विभाग में चंद्रेश कुमार यादव बाल विकास योजनाओं को विस्तार देंगे। वन और श्रम विभागों में बदलाव से पर्यावरण और मजदूर कल्याण पर सकारात्मक प्रभाव पड़ेगा।

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