Sambhal: अलाव-कंबल नहीं, मंदिर-मस्जिद की राजनीति कर रही सरकार, कुत्तों की गणना के आदेश पर सपा का विरोध।
सम्भल में मियां सराय स्थित एक निजी बैंकट हॉल में समाजवादी पार्टी की एक अहम बैठक सईद अख्तर के नेतृत्व में आयोजित की गई। बैठक में देश
उवैस दानिश, सम्भल
सम्भल में मियां सराय स्थित एक निजी बैंकट हॉल में समाजवादी पार्टी की एक अहम बैठक सईद अख्तर के नेतृत्व में आयोजित की गई। बैठक में देश और प्रदेश में लगातार बढ़ती महंगाई, अशिक्षा, बेरोजगारी और सरकारी अस्पतालों में दवाइयों व डॉक्टरों की कमी जैसे मुद्दों पर गंभीर चिंता जताई गई।
नेताओं ने कहा कि आम जनता महंगाई से त्रस्त है, युवाओं को रोजगार नहीं मिल रहा और स्वास्थ्य व्यवस्था पूरी तरह चरमराई हुई है। बैठक में शिक्षकों से कुत्तों की गणना कराने के आदेश पर भी कड़ा विरोध दर्ज कराया गया। सपा नेताओं ने इसे शिक्षकों का उत्पीड़न बताते हुए कहा कि समाजवादी पार्टी इसे किसी भी हाल में बर्दाश्त नहीं करेगी। उनका कहना था कि शिक्षक समाज की रीढ़ हैं और उनसे इस तरह के कार्य कराना सरकार की नाकामी को दर्शाता है। सपा जिला सचिव ने सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा कि मौजूदा सरकार का मकसद जनहित के मुद्दों से ध्यान भटकाकर हिंदू-मुस्लिम, मंदिर-मस्जिद और नाम बदलने की राजनीति करना है।
उन्होंने कहा कि ठंड के मौसम में गरीब और जरूरतमंद लोग मर रहे हैं, लेकिन न तो अलाव जलाए जा रहे हैं और न ही कंबल बांटे जा रहे हैं। सरकार इस ओर आंखें मूंदे हुए है। बैठक में मांग की गई कि सरकार महंगाई और बेरोजगारी पर तुरंत नियंत्रण करे, सरकारी अस्पतालों में दवाइयों की समुचित व्यवस्था सुनिश्चित करे और बंद पड़े स्कूलों को खोलकर बच्चों को बेहतर शिक्षा दिलाए। सपा नेताओं ने दावा किया कि अब जनता सब समझ चुकी है और वर्ष 2027 के विधानसभा चुनाव में समाजवादी पार्टी की सरकार बनाकर भाजपा को सत्ता से उखाड़ फेंकने का मन बना चुकी है।
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